घर में कहाँ क्या होना चाहिए !


1. शयन कक्षः (मुख्य व्यक्ति का) पश्चिम-दक्षिण।


2. शयन कक्षः (बालकों का) उत्तर-पूर्व।


3. शयन कक्षः (कन्याओं का) वायव्य।


4. भोजन गृहः पश्चिम-आग्नेय, नैऋय।


5. अध्ययन कक्षः ईशान।


6. मुख्य द्वारः पूर्व-उत्तर-ईशान।


7. सीढ़ियां: उत्तर-पश्चिम ।


8. स्नान घर : पूर्व-वायव्य।


9. शौचालयः दक्षिण और नैऋत्य के बीच में। वायव्य।


10. गैरेज: आग्नेय । वायव्य


11. रसोईघर: आग्नेय


12. अतिथि गृहः वायव्य।


13. मंदिर (पूजागृह): ईशान।


14. स्टोर यानी भंडार गृहः नैऋत्य


15. गौशाला: वायव्य।


16. कुआं, ट्यूवबेल अथवा भूमिगत टंकी-पूर्व, ईशान । उत्तर पश्चिम।


वास्तुविद-संजय कुमार गर्ग